विभाजन विभीषिका से सम्बन्धित अभिलेख प्रदर्शनी का आयोजन किया गया
गोरखपुर –संस्कृति विभाग, उ0प्र0 शासन के निर्देश के क्रम में आजादी का अमृत महोत्सव के अन्तर्गत ‘स्वतंत्रता सप्ताह‘ एवं ‘हर घर तिरंगा कार्यक्रम‘ के अवसर पर विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस के अवसर पर आज सूचना एवं संस्कृति विभाग, उ0प्र0 के तत्वावधान में जनपद गोरखपुर के योगिराज बाबा गम्भीरनाथ प्रेक्षागृह के प्रदर्शनी कक्ष में एक तरफ जहाॅं विभाजन विभीषिका से सम्बन्धित अभिलेख प्रदर्शनी तो दूसरी तरफ बौद्ध संग्रहालय की तरफ से स्वतंत्रता आन्दोलन से सम्बन्धित संयुक्त छायाचित्र प्रदर्शनी लगायी गयी।
उक्त प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि धर्मेन्द्र सिंह, सदस्य विधान परिषद द्वारा किया गया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि 14 अगस्त, 1947 को भारत के विभाजन विभीषिका का जो दर्द एवं त्रासदी लोगों ने झेली, उक्त प्रदर्शनी का अवलोकन करने से उस समय की स्थिति-परिस्थिति साफ-साफ झलक रही है।
स्वतंत्रता आन्दोलन से सम्बन्धित छायाचित्र प्रदर्शनी में ब्रिटिश हुकुमत के अधीन वर्षों से गुलामी की जंजीरों में जकड़े भारत की आजादी हेतु 10 मई, 1857 से 15 अगस्त, 1947 तक के स्वतंत्रता आन्दोलन के क्रमिक इतिहास को दुर्लभ अभिलेखों/छायाचित्रों के माध्यम से बड़े ही प्रभावी ढंग से प्रस्तुत किया गया था। प्रदर्शनी में स्वतंत्रता संग्राम से जुड़े क्रान्तिकारियों के दुर्लभ अभिलेख/छायाचित्र निश्चित रूप से विद्यार्थियों के लिए आकर्षण का केन्द्र है।
सांस्कृतिक कार्यक्रमों की श्रृंखला में सायं 3.00 बजे से मिनी आडिटोरियम में नई दिल्ली से सुर्यांश बैण्ड द्वारा देश गीत की सुन्दर प्रस्तुति की गयी। कार्यक्रम दीप प्रज्ज्वलन के साथ शुभारम्भ किया गया।
उक्त के अतिरिक्त भोजपुरी विधा के लोकगायक बबिता शुक्ला गोरखपुर ने अपनी देशभक्ति पूर्ण लोकगीतों की प्रस्तुति कर खूब वाह-वाही बटोरी। सभी दर्शकों ने उपरोक्त सांस्कृतिक कार्यक्रम का भरपुर आनन्द लिया। मंच पर विशिष्ट अतिथियों एवं कलाकारों द्वारा हाथ में तिरंगा लेकर भारत माता की जय के उद्घोष के साथ कार्यक्रम का समापन किया गया।
उक्त अवसर पर क्षेत्रीय सांस्कृतिक केन्द्र के प्रभारी एवं उप निदेशक राजकीय बौद्ध संग्रहालय गोरखपुर ने कहा कि उ0प्र0 शासन के निर्देशानुसार विभिन्न विधाओं के कलाकारों द्वारा 11 अगस्त, 2022 से प्रतिदिन अपरान्ह 3.00 बजे से सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति की जा रही है।
15 अगस्त, 2022 को ओमप्रकाश श्रीवास्तव, भजन गायक, मुम्बई एवं रामज्ञान यादव की फरूआही लोकनृत्य की प्रस्तुति होगी।
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