Monday 22nd of September 2025 12:37:30 PM

Breaking News
  •  22 सितम्बर से लागू होंगी GST की नई दरें ,MRP देखकर ही करे खरीददारी |
  • उत्तराखंड सरकार आपदा प्रभावित धराली के सेब उत्पादकों से उपज खरीदेगी |
  • H-1 B पर खडगे के खोखले नारे बयान पर भड़के पूर्व विदेश सचिव ,किरन रिजिजू ने कांग्रेस को घेरा | 
Facebook Comments
By : Nishpaksh Pratinidhi | Published Date : 19 Dec 2019 6:12 PM |   447 views

नागरिकता कानून मामले पर सुलग रहा उत्तर प्रदेश

 

लखनऊ-  नये नागरिकता कानून के खिलाफ राजधानी लखनऊ में हिंसा भड़क उठी। उपद्रवियों ने पथराव किया, वाहनों को आग लगा दी जबकि संभल में दो सरकारी बसों को आग के हवाले कर दिया।

असामाजिक तत्वों ने निषेधाज्ञा का उल्लंघन किया। उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक ओ पी सिंह के मुताबिक 19 दिसंबर को किसी भी तरह के जमावड़े की अनुमति नहीं है। डीजीपी ने कहा, ‘‘पुलिस को राजधानी के मदेयगंज क्षेत्र में भीड़ को तितर बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ने पडे़। करीब 20 लोगों को हिरासत में लिया गया है।

शहर के अन्य कई हिस्सों में तनाव व्याप्त है। विशेषकर पुराने लखनऊ0 के मुस्लिम बहुल इलाकों में तनाव है। कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए पुलिस को खासी मशक्कत करनी पड़ रही है। हसनगंज क्षेत्र में पथराव कर रही भीड़ को तितर बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले छोड़ने पडे़।

कांग्रेस सूत्रों ने बताया कि उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू को हिरासत में ले लिया गया है। वह नागरिकता कानून के खिलाफ परिवर्तन चौक पर प्रदर्शन का नेतृत्व कर रहे थे। परिवर्तन चौक स्थित के डी सिंह बाबू स्टेडियम के मेट्रो स्टेशन के गेट बंद कर दिये गये हैं क्योंकि पथराव कर रही भीड़ बड़ी संख्या में यहां जमा हो गयी थी। भीड़ ने एक टीवी चैनल की ओ बी वैन में तोड़फोड़ की और उसे कथित तौर पर आग के हवाले कर दिया।

विपक्षी सपा एवं कांग्रेस विधायकों ने विधान भवन में इस कानून के खिलाफ प्रदर्शन और नारेबाजी की। सपा विधायक सुबह ही विधान भवन में एकत्र हो गये हालांकि इस दौरान सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे। सपा विधायकों ने सीएए के खिलाफ नारेबाजी की। उसी समय कांग्रेस विधायकों ने भी प्रदर्शन किया। सपा नेता चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा के निकट एकत्र हुए और वहां नारेबाजी की। कांग्रेस विधायक भी निकट की सीढ़ियों पर प्रदर्शन कर रहे थे।

सपा का एक विधायक विरोध प्रकट करने के लिए मुख्य द्वार पर ही चढ़ गया। कांग्रेस के कुछ विधायक सड़क पर आये लेकिन पुलिस की अनुमति नहीं मिलने पर वे वापस विधान भवन परिसर में चले गये।

सदन में सपा विधायकों ने पुलिस की ज्यादती का मुद्दा उठाना चाहा। उनका कहना था कि सीएए के खिलाफ प्रदर्शन करने के उनके लोकतांत्रिक अधिकार का हनन किया जा रहा है। इस मुद्दे पर सपा विधायकों ने जमकर हंगामा किया। सपा नेताओं ने मंगलवार को सीएए, कानून व्यवस्था, महिलाओं के प्रति अपराध सहित विभिन्न मुद्दों को लेकर विधानभवन के बाहर प्रदर्शन किया।

देश के विभिन्न हिस्सों में हो रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच राज्य पुलिस ने बुधवार को कहा था कि किसी को भी प्रदेश भर में निषेधाज्ञा का उल्लंघन करने की अनुमति नहीं है। संभल के जिलाधिकारी अविनाश के सिंह ने कहा, ‘‘जिले में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गयी हैं। यहां भीड़ ने एक बस को आग लगा दी जबकि एक अन्य को क्षतिग्रस्त कर दिया।

उन्होंने बताया, ‘‘एक थाने पर भी प्रदर्शनकारियों ने पथराव किया। इंटरनेट सेवाएं एहतियात के तौर पर बंद की गयी हैं। मऊ में भीड़ ने पथराव किया, जिसके बाद आरएएफ और पीएसी सहित बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया। यहां भी इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गयी हैं। अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में कई शिक्षकों ने मौन जुलूस निकाला। प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल थीं।

कानून का विरोध कर रहे छात्रों का रविवार को पुलिस से संघर्ष हुआ था, जिसमें 60 लोग घायल हो गये थे। प्रशासन ने विश्वविद्यालय को पांच जनवरी तक बंद कर दिया है।

Facebook Comments