कल बरावं में भोजपुरी साहित्य संगोष्ठी का आयोजन किया गया
देवरिया – कल श्री हनुमान विद्या मंदिर इंटर कालेज वराव देवरिया में भोजपुरी साहित्य संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी का विषय था” भोजपुरी भाषा और संस्कृति के विकास में युवा की भूमिका”|
कार्यक्रम की शुरुआत मुख्य अतिथि द्वारा सरस्वती चित्र पर माल्यार्पण कर हुआ | कार्यक्रम की अध्यक्षता विद्यालय के प्रबंधक वैभव कान्त मिश्र ने किया।
अपने उद्बोधन में नरसिंह ने कहा कि मातृभाषा भोजपुरी को सम्मान देना हम सभी का कर्तव्य है।साथ ही साथ सभी भाषाओं के प्रति आदर का भाव रखना चाहिए। भाषा ईश्वर का वरदान है। भोजपुरी भाषा हमारी पहचान है, अस्मिता है, संस्कृति है।
डॉ लारी आजाद ने बच्चों के साथ शिक्षक की भूमिका में संवाद किया। महतारी भाषा के बारे मे बताया कि मां तीन तरह की होती हैं। जन्म देने वाली, जन्म भूमि, और मातृभाषा। जीवन में तीनों का बहुत महत्व है। भोजपुरी भाषा दुनिया की समृद्ध, संस्कारिक, और श्रेष्ठ भाषा है। भारत की कोई भाषा विदेशों में नहीं बोली जाती है। भोजपुरी भाषा चौदह देशों में अलग-अलग नामों से जानी जाती हैं और बोली जाती है। जैसे सरनेमी। अपनी मातृभाषा भोजपुरी को संमान देना, और जानना चाहिए। बच्चों के उज्जवल भविष्य के लिए शुभकामना दी।
विद्यालय के प्रधानाचार्य बसंत कुमार मिश्र और प्रबंधक वैभव कान्त मिश्र ने अतिथियों को अंग वस्त्र, अभिनन्दन पत्र और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया।
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