By :
Nishpaksh Pratinidhi
| Published Date :
9
Dec
2022
5:58 PM
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दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष स्वाति मालीवाल की मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं। दिल्ली महिला आयोग में अवैध नियुक्तियों को लेकर कोर्ट ने स्वाति मालीवाल और अन्य के खिलाफ भ्रष्टाचार और आपराधिक साजिश के आरोप तय करने के आदेश दे दिए हैं।
स्वाति मालीवाल और अन्य के खिलाफ महिला अधिकार संस्था में आम आदमी पार्टी के कार्यकर्ताओं को विभिन्न पदों पर नियुक्त करने के लिए अपने आधिकारिक पदों का प्रथम दृष्टया दुरुपयोग करने के आरोप लगे। इसी को लेकर भाजपा ने दिल्ली के उपराज्यपाल से उन्हें हटाने की मांग कर दी है। भाजपा सांसद प्रवेश वर्मा ने उपराज्यपाल वीके सक्सेना को एक पत्र भी लिखा है।
वहीं, अपने ट्वीट में प्रवेश वर्मा ने लिखा कि सत्ता का दुरुपयोग करना आम आदमी पार्टी की दिल्ली सरकार के लिए आम बात हो गई है, हर जगह हर विभाग में धांधलेबाज़ी है। कल कोर्ट ने स्वाति मालीवाल के ख़िलाफ़ केस दर्ज करने के लिए आदेश दिये।
मैंने आज उपराज्यपाल वीके सक्सेना को पत्र लिखा की तुरंत ऐसे लोगों को पद से हटा देना चाहिए। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष आदेश गुप्ता ने कहा कि भ्रष्टाचार करने में कहीं कोई कसर न छूटे इस AAP से| दिल्ली महिला आयोग की अध्यक्ष के खिलाफ कोर्ट ने आधिकारिक पदों का दुरुपयोग कर अवैध नियुक्ति का आरोप तय किया।
कोर्ट ने आदेश दिया कि डीसीडब्ल्यू की पूर्व सदस्य प्रोमिला गुप्ता, सारिका चौधरी और फरहीन मलिक पर भी मुकदमा चलाया जाए। विशेष न्यायाधीश विनय सिंह ने कहा कि डीसीडब्ल्यू द्वारा विभिन्न तिथियों पर आयोजित बैठकों के विवरण जिसमें सभी चार अभियुक्त हस्ताक्षरकर्ता थे, के अवलोकन ‘‘प्रथम दृष्टया इस संदेह की ओर इशारा करते हैं कि जिन नियुक्तियों पर सवाल उठाए गए हैं वे आरोपियों ने एक दूसरे के साथ मिलीभगत करके की।
न्यायाधीश ने कहा, ‘‘परिस्थितियां प्रथम दृष्टया आरोपी व्यक्तियों के बीच इस तरह की साजिश का संकेत देती हैं।’’ अदालत ने आरोपी व्यक्तियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 120-बी (आपराधिक साजिश) और भ्रष्टाचार अधिनियम की धारा 13 (1) (डी) (एक लोक सेवक द्वारा आपराधिक कदाचार) के तहत आरोप तय करने का आदेश दिया।