चन्द्रदेव ला कालेज मल्हनी द्वारा छात्रों का परिचय कार्यक्रम
भाटपाररानी -चन्द्र देव लाँ कालेज मल्हनी भाटपाररानी देवरिया के तत्वावधान में प्रथम सेमेस्टर में प्रवेश लिये गये छात्रों का एक परिचय कार्यक्रम आयोजित किया गया। जिसके मुख्य अतिथि डा. रवि प्रकाश मौर्य सेवानिवृत्त प्रोफेसर रहे। उप प्राचार्य डा.पुनित श्रीवास्तव ने सभी का स्वागत करते हुए बताया कि कानूनी शिक्षा का अर्थ है व्यक्ति के कानूनों, अधिकारों और कर्तव्यों के संबंध में ज्ञान प्रदान करना है। इसलिए लॉ कॉलेज समग्र कानूनी शिक्षा प्रदान करने का प्रयास कर रहा हैं।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि प्रो. रवि प्रकाश ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र में ला कालेज होने से क्षेत्रीय एवं जनपद के आसपास के छात्रों के लिए काफी लाभदायक सिद्ध होगा। कम खर्च में बच्चे शिक्षा ग्रहण कर सकेगे। उन्होंने बताया कि विधि शिक्षा एक ऐसी शैक्षिक प्रक्रिया है जो व्यक्तियों को कानून के सिद्धांतों और प्रथाओं का ज्ञान देती है, जिससे वे कानूनी प्रणाली में काम करने, वकील बनने या कानूनी क्षेत्र में योगदान करने के लिए तैयार होते हैं। इसमें कानून की डिग्री प्राप्त करना शामिल है, जिसमें स्नातक और स्नातकोत्तर पाठ्यक्रम शामिल हो सकते हैं।
विधि शिक्षा का उद्देश्य नागरिकों को उनके अधिकारों और कर्तव्यों के प्रति जागरूक करना, कानून के शासन को बढ़ावा देना और न्याय व्यवस्था में योगदान देना है। विधि शिक्षा के मुख्य पहलू ज्ञान और कौशल का विकास वकालत और न्याय का प्रशिक्षण देकर छात्रों को एक पेशेवर वकील के रूप में काम करने के लिए तैयार करती है और स्वतंत्रता तथा न्याय की रक्षा के लिए आवश्यक नैतिक आधार प्रदान करती है।
कालेज के प्रबंधक ई.अशोक देव ने बताया कि लॉ नागरिकों को उनके कानूनी अधिकारों और कर्तव्यों से अवगत कराती है, जिससे वे एक शक्तिशाली और जागरूक समाज का हिस्सा बनते हैं।विधि शिक्षा कानून के शासन के विचार को बढ़ावा देती है और न्यायपालिका को लोकतंत्र का एक महत्वपूर्ण स्तंभ बनाती है। यह वकालत, कॉर्पोरेट कानून, और पर्यावरण, साइबर, या खेल जैसे उभरते कानूनी क्षेत्रों में विभिन्न कैरियर के द्वार खोलती है। विधि शिक्षा व्यक्तियों को न्याय प्रदान करने, सामाजिक न्याय को बढ़ावा देने और समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए सशक्त बनाती है।