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By : Nishpaksh Pratinidhi | Published Date : 26 Jun 2025 8:48 PM |   164 views

आगरा के सींगना में अंतर्राष्ट्रीय आलू अनुसंधान केंद्र की स्थापना को मिली केंद्रीय कैबिनेट की मंजूरी

लखनऊ : प्रदेश के उद्यान, कृषि विपणन, कृषि विदेश व्यापार एवं कृषि निर्यात राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)  दिनेश प्रताप सिंह ने बुधवार को लखनऊ स्थित अपने सरकारी आवास पर आयोजित प्रेस वार्ता में जानकारी दी कि उत्तर प्रदेश के आगरा जनपद के सींगना स्थित राजकीय औद्यानिक प्रक्षेत्र में अंतर्राष्ट्रीय आलू केंद्र, लीमा (पेरू) के दक्षिण एशिया क्षेत्रीय केंद्र  की स्थापना के प्रस्ताव को भारत सरकार के केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंजूरी दे दी है। इस परियोजना हेतु रु. 111 करोड़ की स्वीकृति प्रदान की गई है।

उन्होंने बताया कि यह ऐतिहासिक निर्णय प्रधानमंत्री  नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में 25 जून, 2025 को लिया गया, जिससे न केवल उत्तर प्रदेश बल्कि पूरे एशिया क्षेत्र को कृषि अनुसंधान व तकनीकी नवाचार का लाभ मिलेगा।

मंत्री ने कहा कि यह केंद्र आलू व शकरकंद की उन्नत, पोषणसमृद्ध और जलवायु अनुकूल किस्मों के विकास, कटाई के बाद प्रबंधन, प्रसंस्करण, मूल्य संवर्धन, विपणन, और रोजगार सृजन जैसे महत्वपूर्ण आयामों में क्रांतिकारी परिवर्तन लाने में सहायक होगा।

सिंह ने कहा कि आलू की उत्पत्ति जिस देश पेरू में हुई, वहीं के अंतर्राष्ट्रीय आलू केंद्र की यह शाखा अब उत्तर प्रदेश के आगरा में स्थापित की जा रही है। एशिया में अब तक इसकी केवल एक शाखा चीन में है और दूसरी शाखा आगरा में खुलना उत्तर भारत और राज्य के किसानों के लिए गौरवपूर्ण उपलब्धि है।

उन्होंने बताया कि प्रदेश में लगभग 2300 कोल्ड स्टोरेज संचालित हैं। आगरा और आसपास के क्षेत्रों में ही 1000 से अधिक कोल्ड स्टोरेज स्थित हैं, जो इस क्षेत्र को आलू उत्पादन और भंडारण का सबसे उपयुक्त केंद्र बनाते हैं।

उन्होंने बताया कि उद्यान विभाग ने अपनी राजकीय आलू बीज उत्पादन प्रक्षेत्र में से 25 एकड़ भूमि नेशनल हॉर्टीकल्चर बोर्ड को इस संस्थान हेतु दी है। वन विभाग और मंडी परिषद के सहयोग से सभी बाधाएं दूर कर स्थापना का मार्ग प्रशस्त किया गया। उन्होंने मुख्यमंत्री  योगी आदित्यनाथ  के मार्गदर्शन और केंद्रीय कृषि मंत्री के समर्थन तथा वन एवं मंडी विभागों के सहयोग का आभार व्यक्त किया।

मंत्री ने बताया कि इस परियोजना को गति देने के उद्देश्य से अप्रैल 2025 में भारत सरकार के कृषि सचिव देवेश चतुर्वेदी एवं उत्तर प्रदेश के अपर मुख्य सचिव उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण  बी.एल. मीणा के नेतृत्व में एक उच्च स्तरीय शिष्टमंडल ने पेरू स्थित अंतर्राष्ट्रीय आलू केंद्र का भ्रमण कर व्यापक अध्ययन किया था। इस अध्ययन से केंद्र की स्थापना में वैश्विक मापदंडों के अनुसार तकनीकी समन्वय सुनिश्चित किया जाएगा।

प्रेस वार्ता में सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश आम महोत्सव-2025 का आयोजन 04 से 06 जुलाई, 2025 तक अवध शिल्पग्राम, अमर शहीद पथ, लखनऊ में भव्य स्तर पर किया जाएगा। मुख्यमंत्री  योगी आदित्यनाथ महोत्सव का शुभारंभ 04 जुलाई को करेंगे। 05 जुलाई को तकनीकी सत्र एवं कार्यशालाएं होंगी, जबकि 06 जुलाई को समापन कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा।

प्रदेश आम उत्पादन में देश में अग्रणी है। वर्ष 2024-25 में उत्तर प्रदेश में 3.25 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में आम की बागवानी की गई तथा 61.46 लाख मीट्रिक टन उत्पादन हुआ, जो देश के कुल उत्पादन का लगभग 27 प्रतिशत है। सहारनपुर, मेरठ, बाराबंकी, वाराणसी, अयोध्या, लखनऊ जैसे जनपद प्रमुख आम उत्पादक हैं।

मंत्री ने बताया कि वर्ष 2024-25 में प्रदेश से 40.31 मीट्रिक टन आम का अन्य देशों को निर्यात किया गया, जबकि वर्ष 2025 में अब तक 13.5 मीट्रिक टन आम का निर्यात किया जा चुका है। आम महोत्सव के माध्यम से प्रदेश सरकार आम के उत्पादन, विपणन और निर्यात को नई दिशा देना चाहती है।

महोत्सव में 600 से अधिक आम की किस्में, आम पकवान प्रतियोगिता, क्रेता-विक्रेता सम्मेलन, आम खाने की प्रतियोगिता, प्रशिक्षण व कार्यशालाएं तथा सांस्कृतिक संध्या के रूप में कवि कुमार विश्वास का विशेष कार्यक्रम शामिल रहेगा। मध्यप्रदेश, बिहार, उत्तराखंड, गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान आदि राज्यों के बागवान, निर्यातक व विभागीय प्रतिनिधि भी प्रतिभाग करेंगे।

मंत्री ने कहा कि आम और आलू दोनों उत्तर प्रदेश की पहचान हैं और इन क्षेत्रों में हो रहे नवाचार व निवेश प्रदेश के किसानों की आय को दुगुना करने की दिशा में सार्थक प्रयास हैं। यह हमारे विभाग को गौरवान्वित करने वाला क्षण है।

मंत्री ने मीडिया से अनुरोध किया कि इस ऐतिहासिक निर्णय और आम महोत्सव की जानकारी अधिकाधिक किसानों व नागरिकों तक पहुँचाई जाए, जिससे वे इन कार्यक्रमों का लाभ उठा सकें। 

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