‘‘भारत की ऐतिहासिक धरोहर‘‘ विषयक छायाचित्र प्रदर्शनी का आयोजन किया गया
गोरखपुर -राजकीय बौद्ध संग्रहालय, गोरखपुर (संस्कृति विभाग, उ0प्र0) एवं शहीद अशफाक उल्ला खां प्राणि उद्यान, गोरखपुर के संयुक्त तत्वावधान में प्राणि उद्यान स्थित ओ0डी0ओ0पी0 गैलरी, गोरखपुर में आज विश्व धरोहर सप्ताह के अवसर पर ‘‘भारत की ऐतिहासिक धरोहर‘‘ विषयक चार दिवसीय छायाचित्र प्रदर्शनी का आयोजन किया गया।
उक्त प्रदर्शनी का उद्घाटन मुख्य अतिथि डा0 मंगलेश श्रीवास्तव, महापौर गोरखपुर द्वारा दीपप्रज्ज्वलन के साथ किया गया।
उक्त प्रदर्शनी का अवलोकन कराने के उपरान्त संग्रहालय की तरफ से मुख्य अतिथि को स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित भी किया गया।
मुख्य अतिथि डा0 मंगलेश श्रीवास्तव ने प्रदर्शनी का अवलोकन करते हुए कहा कि 19 से 25 नवम्बर तक मनाए जाने वाले विश्व धरोहर सप्ताह का उद्देश्य है दुनियाभर में मानव इतिहास से जुड़े ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और प्राकृतिक स्थलों को संरक्षित किया जाए, जिसके लिए लोगों को जागरूक करना बेहद जरूरी है। ऐसा प्रयास निश्चित रूप से भावी पीढ़ी के युवाओं को अपनी विरासत से परिचित कराने का एक सशक्त माध्यम है। किसी भी देश की पहचान, वहां की सभ्यता की जानकारी इन धरोहरों से ही पता चलती है। जो निश्चित रूप से देश का गौरव बढ़ाने का काम कर रही हैं।
उक्त अवसर पर प्राणि उद्यान के प्रमुख चिकित्सक डा0 योगेश प्रताप सिंह ने कहा विश्व धरोहर सप्ताह पर आयोजित भारत की ऐतिहासिक धरोहर पर आधारित छायाचित्र प्रदर्शनी इसलिए भी महत्वपूर्ण है कि इससे प्राचीन धरोहर को सुरक्षित और संरक्षित रखने का एक मौन संदेश प्रसारित हो रहा है। छायाचित्रों का सौन्दर्य काफी आकर्षक है। हमारी सांस्कृतिक धरोहर धीरे-धीरे विलुप्त हो रही है, जिसे संरक्षित करने के लिए हम सभी को प्रण लेना होगा। ऐसे में छायाचित्रों के माध्यम से प्राचीन धरोहरों के प्रति जनचेतना जागृत करने का संग्रहालय का एक सफल प्रयास किया है। जो निःसंदेह प्रशंसनीय व स्वागत योग्य है।
संग्रहालय के उप निदेशक डाॅ0 यशवन्त सिंह राठौर ने कहा कि विश्व विरासत सप्ताह संस्कृति और विरासत के संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए मनाया जाता है। सप्ताह भर चलने वाले उत्सव का उद्देश्य परंपराओं और संस्कृति के बारे में जागरूकता पैदा करना है। विश्व विरासत सप्ताह यूनेस्को और कई अन्य अंतरराष्ट्रीय संगठनों द्वारा मनाया जाता है।
विश्व धरोहर सप्ताह पर आयोजित प्रदर्शनी में भारत की प्रमुख विरासतों में से लाल किला, अजंता व एलोरा की गुफाएं, नालंदा महाविहार, महाबोधि मंदिर, बोधगया, साॅंची के बौद्ध मंदिर, खजुराहों, महाबलीपुरम, हुमायूॅं का मकबरा, सुंदरबन, कोणार्क सूर्य मंदिर, गेटवे आफ इण्डिया, हवा महल, ताजमहल, स्वर्ण मन्दिर, एवं गोरखनाथ मन्दिर आदि विरासत के छायाचित्र उक्त प्रदर्शनी के आकर्षण के केन्द्र हैं। प्रदर्शनी का अवलोकन शैक्षिक भ्रमण पर आने वाले कई विद्यालय के छात्र-छात्राओं के समूह द्वारा किया गया।
उक्त अवसर गौरव वर्मा, हरि प्रसाद सिंह, वैभव नारायण सिंह, रविन्द्र कुमार सिंह, शैलेश कुमार गुप्ता, रोहित सिंह, नीरज सिंह, सुमित यादव, जय सिंह आदि की उपस्थिति उल्लेखनीय रही।