बाल विकास परियोजनाओं के तहत अनुमन्य सभी सुविधायें लाभार्थियों तक प्रत्येक दशा में पहुॅचायें-डीएम
देवरिया- जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन ने कहा है कि बाल विकास की संचालित योजनाएं अत्यन्त ही महत्वपूर्ण है। यह बच्चो के कुपोषण को दूर करने एवं उन्हे बुनियादी शैक्षिक क्रियाशिलताओं से जोडने में इसकी महत्वपूर्ण भूमिका है, इसलिये इस विभाग की सभी संचालित योजनाये वास्तविक रुप से क्रियान्वित होनी चाहिये और प्रत्येक लाभार्थी तक इसका लाभ अनिवार्य रुप से पुहॅचना चाहिये, इसमें किसी भी स्तर पर कोई कोताही नही होनी चाहिये।
जिलाधिकारी आज गूगल मीट के माध्यम से जिला पोषण समिति की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। जिला कार्यक्रम अधिकारी कृष्णकान्त राय ने गत माहों में हुए इस समिति की बैठक के कार्य बिन्दुओं के अनुपालन से अवगत कराते हुए बताया कि जिलाधिकारी द्वारा आंगनवाडी केन्द्रो को ऐसे प्राथमिक विद्यालयों जिसमें 5 या इससे अधिक कमरें है, उसमे एक कमरे को आगनवाडी केन्द्र के लिये आवंटित किये जाने का निर्देश दिया गया था, जिसके क्रम में 113 प्राथमिक विद्यालय इस तरह के चिन्हित किये गये है, जिस पर जिलाधिकारी ने ऐसे विद्यालयों में तत्कालिक रुप से आंगनवाडी केन्द्रों के लिये एक कमरे को आवंटित किये जाने का निर्देश दिया। बताया गया कि गत बैठक में यह भी निर्णय लिया गया था कि जिन विद्यालयों में पर्याप्त जमीन है उसके किसी एक हिस्से में आंगनवाडी केन्द्रों का निर्माण कराया जाये। ऐसे 180 प्राथमिक विद्यालय चिन्हित किये गये है। जहां आंगनवाडी केन्द्र बनाये जा सकते है। इन विद्यालयों में आवश्यक 650 वर्ग फीट आंगनवाडी केन्द्र निर्माण हेतु जमीन उपलब्ध है। जिलाधिकारी ने 10 दिन के अन्दर प्रस्ताव तैयार कर प्रस्तुत किये जाने का निर्देश दिया ताकि उसे शासन को भेजा जा सके। 52 आंगनवाडी केन्द्रों के भवन बनाये जाने में आ रही समस्याओं का निराकरण करते हुए संबंधित ग्राम पंचायतों को कार्यदायी संस्था के रुप में चिन्हित कर उन्हे निर्माण कार्यो को कराये जाने तथा उस संबंधित ग्राम पंचायत के ग्राम निधि में निर्माण हेतु अनुमन्य धनराशि आवंटित किये जाने का निर्देश जिलाधिकारी ने दिया। इन कार्यो को डीसी मनरेगा के समन्वय से कराये जाने को भी उन्होने कहा। बच्चो के कुपोषण दूर किये जाने के लिये देसही देवरिया अंतर्गत पिपरा दौलाकदम, रुद्रपुर एवं पथरदेवा विकास खंड में निर्मित होने वाले क्लीनिक के निर्माण कार्यो को कराये जाने हेतु जमीन की उपलब्धता सुनिश्चित कराये जाने एवं इसमें मुख्य विकास अधिकारी का समन्यव लिये जाने का निर्देश जिला कार्यकम अधिकारी को दिया। जनपद मुख्यालय के राष्ट्रीय पोषण केन्द्र को सुव्यवस्थित एवं सुदृढीकृत किये जाने का निर्देश देते हुए कहा कि उसमें बाल सुलभ चित्रकारी भी करायें।
जिलाधिकारी बाल विकास से जुडे सभी अधिकारियों, कर्मचारियों, आंगनवाडी कार्यकर्तियों, सहायिकाओं को अपने दायित्वों का निर्वहन पूरी निष्ठा व मनोयोग से किये जाने के साथ ही जो भी अनुमन्य सुविधाये व योजनायें संचालित है उसे लाभार्थियों तक प्रत्येक दशा में पहुॅचाये जाने को कहा। साथ ही इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता नही बरते जाने हेतु उन्होने आगाह किया।
गूगल मीट में मुख्य विकास अधिकारी शिव शरणप्पा जीएन, सीएमओ डा आलोक पाण्डेय, जिला कार्यक्रम अधिकारी कृष्णकान्त राय, बाल विकास से परियोजना अधिकारी गण व अन्य संबंधित अधिकारी, कर्मचारी आदि जुडे रहे।
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